जिला मुख्यालय से नादौन मार्ग पर झनियारी तथा सलासी के अतिरिक्त पटटा जाहू कोठी के जंगलों के आस पास कुछ लोगों द्वारा कूड़ा कर्कट फैंके जाने से क्षेत्र का वातावरण दूषित हो रहा है । इससे राहगीरों को भी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। कूडा कर्कट आम तौर पर पॉलीथीन के लिफाफों में फैंका जा रहा है, जिससे वन्य जीवन को भी खतरा पैदा होने का अंदेशा है। कुछ लोग अपने घरों का कूडा कर्कट एक जगह इकट्ठा करके जमीन में दबाने की अपेक्षा हरे-भरे जंगल में फैंक रहे हैं । यद्यपि गांव स्तर पर ग्राम पंचायतों ने गांव में बड़े-बड़े कूडादान स्थापित कर दिए हैं, परंतु फिर भी लोग उनमें कूडा कर्कट डालना पसंद नहीं करते तथा उसकी अपेक्षा खुले में या जंगल के बीच कूड़ा फेंक देते हैं । कुछ ग्रामीणों का यह भी कहना है कि पंचायतों में कूडा दान तो स्थापित कर दिए हैं परंतु उनके निपटान की कोई व्यवस्था नहीं है जिस कारण यह कूड़ादन गंदगी से भरे रहते हैं । लोगों की मांग है कि पंचायतों में भी शहरों की तर्ज पर स्फाई कर्मचारियों द्वारा सफाई की व्यवस्था होनी चाहिए । जब इस संबंध में वन विभाग के अधिकारियों से बात की गई तो उन्होंने बताया कि मामाला उनके ध्यान में आया है अब जो भी जंगलों में कूड़ा कर्कट फैंकेंगा उसके विरूद्ध कड़ी कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।