अफसरों को नई गाड़ियां दी गई, एक गाड़ी बेटे को लेने एडवर्ड स्कूल जाती है तो दूसरी गाड़ी बेटी को लेने चैल्सी स्कूल, तीसरी गाड़ी बीवी को लेने तथा चौथी गाड़ी सब्जी लेने मंडी जाती है। 

 

स्वतंत्रता दिवस पर महंगाई भत्ते व एरियर की घोषणा न होने पर कर्मचारियों में रोष उत्पन हो रहा है। इसकी शुरुआत बुधवार को प्रदेश सचिवालय शिमला से शुरू हो गई है। सचिवालय कर्मचारियों ने लंच के समय सचिवालय परिसर में विशाल प्रदर्शन किया। इसमें बड़ी संख्या में कर्मचारी शामिल हुए।

 

कर्मचारियों ने सुक्खू सरकार और अफसरशाही पर तीखे हमले किए। कर्मचारियों ने सुक्खू सरकार पर करोड़ों रुपए फिजूलखर्ची करने और कर्मचारियों को उनके अधिकारों से वंचित रखने का आरोप लगाया है। कर्मचारी नेताओं ने यहां तक कह डाला कि अफसरों को महंगी लग्जरी गाड़ियों पर करोड़ों की फिजूलखर्ची की जा रही है।

 

अफसरों को नई गाड़ियां दी गई, एक गाड़ी बेटे को लेने एडवर्ड स्कूल जाती है तो दूसरी गाड़ी बेटी को लेने चैल्सी स्कूल, तीसरी गाड़ी बीवी को लेने तथा चौथी गाड़ी सब्जी लेने मंडी जाती है। कर्मचारियों के अनुसार, घाटे की सबसे बड़ी यही वजह है। इस वजह से कर्मचारियों के वित्तीय लाभ रोकना सही नहीं है।

संजीव शर्मा ने कहा, कुछ दिन पहले बनी बिल्डिंग में 2 मंत्री बैठ रहे हैं। इन्होंने लगभग 1 करोड़ रुपए नई बनी बिल्डिंग की रैनोवेशन में लगा दिए। उन्होंने कहा, मुख्यमंत्री के लिए भी कार्यालय बनाया जा रहा है। इस पर 19.72 करोड़ रुपए खर्च को एडमिनिस्ट्रेटिव अप्रूवल दे दी गई है। इसी तरह स्पीकर दफ्तर पर लगभग 2 करोड़ खर्च कर दिए गए है। इसके लिए सरकार के पास पैसा है। कर्मचारियों को डीए-एरियर नहीं दिया जा रहा है।

बता दें कि पूर्व जय राम सरकार ने 2021-22 में अपने सभी कर्मचारी और पेंशनर को एक जनवरी 2016 से नए वेतनमान के लाभ तो दे दिए, लेकिन एरियर का भुगतान नहीं किया। इस वक्त कर्मचारियों के लगभग 10 हजार करोड़ रुपए सरकार के पास बकाया है। कर्मचारी स्वतंत्रता दिवस पर एरियर व मिलने की आस लगाए बैठे थे।

सीएम सुक्खू ने केवल 75 साल से अधिक आयु वर्ग के पेंशनर का ही एकमुश्त एरियर देने का ऐलान किया है। इससे दूसरे कर्मचारी भड़क उठे हैं। मगर कांग्रेस सरकार आर्थिक स्थिति खराब होने का हवाला देते हुए एरियर व डीए के भुगतान को टाल रही है।

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